
क्लैव्य/नपुंसक - 4 (चरक)
क्लैव्य - 6 (सुश्रुत)
नपुसंक - 5 (सुश्रुत)
शुक्र दोष (चरक):
‘‘फेनिलं तनु रूक्षं च विवर्णं पूति पिच्छिलम अन्यधातुपसंसृष्टमवसादि तथाSष्टमम्।’’
सुश्रुतानुसार: 11 (V, P, K, R)
कुणपगन्धि (रक्तज)
क्षीण (VP)
पूति (PK)
पूय (PK)
ग्रंन्थि (KV)
मूत्र (त्रिदोषज)
पुरीष रेतस (त्रिदोषज)