1- जायते तु मृतं नित्यं यस्या नार्या: सवे सवे
नाकिनीमिति वां विद्यादारूणां जातहारिणीम्।।
- स्त्री का गर्भ नित्य मृत उत्पन्न होता हैं।
2- "जातं जातमपत्यं तु यस्या: सघो विनश्यति"
पिशाची नाम सा घोरा मांसादि जातहारिणी।।
- जिस स्त्री के पुत्र उत्पन्न होते ही नष्ट हो जाते है उस मासं मक्षण करने वाली जातहारिणी को पिशाची कहते हैं।
3- जातं जातंमप्तयं तु यस्य़ाश्र्च म्रियते स्त्रिया:। घोरा पुण्यजननी नाम
- जिस स्त्री की सन्तान उतपन्न होते ही मार जाती हैं।
4- इन्द्रवडवा - "यमजं म्रियते यस्या एकं वोभयमेव वा"
- जिसके एक या दोनो यमज मर जाते हैं।
1- साध्यजातहारिणी | i- 10/11 |
2- याप्यजातहारिणी | ii- 16 |
3- असाध्यजातहारिणी | iii- 8 |